छोड़ गइले रेे रात सुतले सेजरिया पे लिरिक्स, भरत शर्मा व्यास

छोड़ गइले रेे रात सुतले सेजरिया पे,भरत शर्मा व्यास आ आआ..आआ… छोड़ गइले रेे रात सुतले सेजरिया पे छोड़ी गइले रेे रात सुतले सेजरिया पे छोड़ गइईले.. चढ़ली जवनिया कदम बहकावे अंखिया के निंदिया अंखियां के निंदिया 2 अखियां के निंदिया रैन तरसावे कांचे कली उ  कांचे कली उ मड़ोड गइल रे रात सुतले सेजरिय … Read more