
वो दिल कहां से लाऊं जो प्रभु राम को भुला दे
वो दिल कहां से लाऊं जो प्रभु राम को भुला दे
हरदम रहे वो दिल में कोई रास्ता बता दे….
इस दिल ने उन्हें हीं चाहा क्या यहीं मेरी खता है
इस दिल ने उन्हें हीं चाहा क्या यहीं मेरी खता है
माना खाता है लेकिन, माना खाता है लेकिन
ऐसी तो न सजा दे
ओ दिल कहां से लाऊं जो प्रभु राम को भुला दे
रहने दे मुझको अपने चरणों की खाक बनके
रहने दे मुझको अपने चरणों की खाक बनके
जो नहीं तुझे गंवारा, जो नहीं तुझे गंवारा
मुझे खाक में मिला दे
ओ दिल कहां से लाऊं जो प्रभु राम को भुला दे